छत्तीसगढ़

शर्म मगर सीएसईबी के नाकारा अफसरों को नहीं आती… बिजली  गोल होने के कारण 6 घंटे से संत्रास भोग रहे बिलासपुर के हजारों नागरिक

(शशि कोन्हेर) : बिलासपुर के नाकारा बिजली अधिकारियों के कारण आज फिर शहर के हजारों लोगों को बिजली आपूर्ति घंटों ठप रहने के कारण नारकीय संत्रास झेलना पड़ा। बिलासपुर मैं दोपहर बाद 4:30 शुरू हुई बारिश के कुछ देर बाद ही शहर के कई इलाकों की लाइट गोल कर दी गई। बाकी जगह तो दो-तीन घंटे बाद बिजली आपूर्ति बहाल हो गई। लेकिन हमेशा की तरह गोंडपारा शनिचरी और बृहस्पति बाजार से जुड़े हजारों घरों में रात को 9:30 बजे तक भी बिजली आपूर्ति शुरू नहीं हुई।

आज विद्युत मंडल के मरम्मत पर खर्च हुए लाखों रुपयों की पोल बारिश ने खोल दी। उसके नाकारा इंजीनियर जरा सी बारिश में भी लाइट गोल होने के बाद ना तो फाल्ट पकड़ पाते हैं और ना ही उसे सुधार पाते हैं। बिलासपुर के ठीक उलट रायपुर में चाहे मौसम कितना भी खराब हो कुछ देर के लिए भी बिजली गुल नहीं होती। बिलासपुर में जरा सी बारिश होते ही कभी 33 केवी तो कभी 11 केवी और कभी विद्युत मंडल के अधिकारियों का भट्टा बैठ जाता है।

तकलीफ की बात यह है कि बिलासपुर के जनप्रतिनिधियों और यहां के वार्डों में जनता का दुख देखने वाले पार्षदों ने भी आम जनता की इस तकलीफ से मुंह मोड़ कर अपना नाकारापन साबित कर दिया है। जनप्रतिनिधियों का दबाव नहीं होने के कारण ही विद्युत मंडल के अधिकारी विद्युत आपूर्ति के मामले में शहर में शुरू से ही मनमानी करते रहे हैं। दरअसल शहर के अधिकांश जनप्रतिनिधियों और नेताओं ने अपने घरों में इन्वर्टर लगा रखे हैं।

इसलिए उन्हें लाइट गोल होने की समस्या से कोई मतलब नहीं रह गया है। केवल आज की बात ही नहीं बिलासपुर में जब कभी भी बारिश होती है शहर के एक बड़े इलाके की लाइट घंटों के लिए गोल हो जाती है। इसका कोई ना कोई उपाय निकाला जाना चाहिए। अन्यथा जनप्रतिनिधियों को अपनी निष्क्रियता छोड़कर आम जनता के सुख के लिए विद्युत मंडल के खिलाफ कोई आंदोलन या अभियान छेड़ना चाहिए।

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