छत्तीसगढ़

पीडब्ल्यूडी की लापरवाही से फिर गई एक जान, विफल साबित हुए मंत्री इस्तीफा दे- रंजना साहू

(शशि कोन्हेर) : रायपुर। छत्तीसगढ़ प्रदेश भाजपा प्रवक्ता विधायक रंजना साहू ने पीडब्ल्यूडी की लापरवाही से बिलासपुर में मंगला लोखंडी के बीच सड़क के गड्ढे में गिरकर एक दूध कारोबारी की मौत पर मुख्यमंत्री से पर्याप्त मुआवजे की मांग करते हुए पीडब्ल्यूडी मंत्री ताम्रध्वज साहू के इस्तीफे की मांग की है। उन्होंने कहा कि पीडब्ल्यूडी ने सड़क पर गड्ढा खुला छोड़ दिया था। जिससे यह हादसा हुआ।

प्रदेश भाजपा प्रवक्ता विधायक रंजना साहू ने कहा कि ताम्रध्वज साहू से न तो गृह विभाग संभल रहा है और न ही लोक निर्माण विभाग। पूरे छत्तीसगढ़ की कानून व्यवस्था पटरी से उतर गई है। मुख्यमंत्री कहते हैं कि बस्तर में स्थिति में सुधार हुआ है जबकि उनके ही विधायक के काफिले पर बीजापुर में हमला हो गया।

गृहमंत्री के रूप में ताम्रध्वज साहू के सारे दावे खोखले साबित हुए हैं। लोक निर्माण मंत्री के रूप में उनके विभागीय कार्य का प्रदर्शन यह है कि उनके स्वयं के सरकारी आवास की दीवार साल में दो बार गिर जाती है। पूरे छत्तीसगढ़ की सड़कों की हालत जर्जर है। सड़क गड्ढों में बदल चुकी है।

स्थिति यह है कि छत्तीसगढ़िया ओलंपिक के दौरान एक युवा खिलाड़ी को खराब सड़क के कारण अपनी जान से हाथ धोना पड़ा। वह समय पर रायगढ़ अस्पताल नहीं पहुंचाया जा सका। बस्तर की एक खिलाड़ी बेटी भी शिकार हुई।

प्रदेश भाजपा प्रवक्ता विधायक रंजना साहू ने कहा कि पूरे प्रदेश में आए दिन खराब सड़कों के कारण लोग हताहत हो रहे हैं। सड़कों की दुर्दशा का मामला उठाए जाने पर लोक निर्माण मंत्री ताम्रध्वज साहू अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ते हुए स्तरहीन टिप्पणी करते हैं। सड़क पर खुला गड्ढा छोड़ने के कारण छत्तीसगढ़ के एक नागरिक की जान फिर चली गई।

जिसके लिए सीधे तौर पर लोक निर्माण मंत्री जिम्मेदार हैं और उनसे अधिक जिम्मेदार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल हैं जो छत्तीसगढ़ की सड़कों को सुधारने के लिए कोई व्यवस्था नहीं कर रहे। लोक निर्माण विभाग की लापरवाही के कारण जान गंवाने वाले व्यक्ति के परिवार को 50 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाए और कर्तव्य निर्वहन में विफल साबित हो रहे लोक निर्माण मंत्री को बर्खास्त किया जाए। ताम्रध्वज साहू में नैतिकता हो तो वे अपनी विफलता स्वीकार कर स्वयं इस्तीफा दें। जब टीएस सिंहदेव से पंचायत विभाग नहीं सम्हला तो उन्होंने इस्तीफा दे दिया। अब ताम्रध्वज उनका अनुकरण करें।

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