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सीमा हैदर को वापस पाकिस्तान भेजने के संकेत

(शशि कोन्हेर) : रबूपुरा के युवक से प्यार के कारण अवैध रूप से भारत आई पाकिस्तानी महिला सीमा हैदर के मामले में एटीएस और पुलिस टीमों को अब मोबाइल फोन के फॉरेंसिक रिपोर्ट का इंतजार है। फिलहाल शासन को दी गई रिपोर्ट में एटीएस ने उसे पाकिस्तान भेजने की सिफारिश की है। वहीं, विजिलेंस की जांच जारी है।

ग्रेटर नोएडा के रबुपूरा में रह रही सीमा हैदर को लेकर एटीएस के एसएसपी और अन्य टीमों ने 18 घंटे तक पूछताछ की। एटीएस को सीमा के जासूस होने या अन्य संदिग्ध गतिविधियों में संलिप्त होने का कोई साक्ष्य नहीं मिलने की बात कही जा रही है।

एटीएस ने अपनी जांच रिपोर्ट मुख्यालय और शासन को सौंप दी है। सीमा के दस्तावेज और नेपाल तथा पाकिस्तान में उससे संबंधित दावों को लेकर विजिलेंस और केंद्र की टीमें जांच कर रही हैं। वरिष्ठ अधिकारियों की मानें तो जब तक सीमा के मामले में गौतमबुद्ध नगर कोर्ट में ट्रायल चल रहा है, तब तक सीमा को पाकिस्तान नहीं भेजा जाएगा।

न्यायालय के फैसले के बाद ही इस पर कोई निर्णय लिया जाएगा। गौतमबुद्ध नगर पुलिस ने बुधवार को सीमा के तीन मोबाइल फोन जांच के लिए गाजियाबाद स्थित फॉरेंसिक लैब को भेजे हैं। डिलीट किए गए डाटा को हासिल किया जाएगा। इससे जांच एजेंसी यह जानने का प्रयास करेगी कि इस डाटा में कहीं कुछ संदिग्ध तो नहीं था।

पूर्णागिरी जाने की बात कहकर नेपाल गया था सचिन

सीमा का प्रेमी सचिन मार्च में दुकान से पूर्णागिरी जाने की बात कहकर एक सप्ताह की छुट्टी ली थी। वह रबूपुरा में ही एक परचून की दुकान पर पिछले दो साल से नौकरी कर रहा था। दुकान मालिक का कहना है कि मार्च महीने में सचिन ने कहा था कि वह अपने परिवार के साथ पूर्णागिरी जा रहा है, लेकिन वह 15 दिन बाद वापस लौटा। उसके बाद अब वह एक जुलाई से दुकान पर नहीं आया है।

सीमा को जेल और जुर्माने की भी सजा संभव

भारतीय कानून के अनुसार सीमा हैदर एक अवैध प्रवासी है। अवैध प्रवासी वह होता है जो बिना वैध यात्रा दस्तावेज जैसे पासपोर्ट और वीजा के देश में प्रवेश करता है। इन्हें भारतीय नागरिकता नहीं मिल सकती। सीमा पर फॉरेनर्स एक्ट 1946 के सेक्शन 14 के तहत मामला दर्ज किया गया है। कानून के जानकारों के अनुसार, इसके तहत पांच साल तक की जेल और जुर्माना हो सकता है।

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