सरगुजा की नाबालिग राजस्थान से बरामद आरोपी जेल दाखिल
(मुंन्ना पाण्डेय) : लखनपुर+(सरगुजा) : थाना क्षेत्र के ग्राम कोसगा से गुमशुदा नाबालिग लड़की को लखनपुर पुलिस ने जिला बाडमेर राजस्थान से बरामद कर आरोपी को न्यायिक रिमांड पर भेजा है।
दरअसल नाबालिग के पिता देवशरण दास पिता हरिहर 50 साल साकिन ग्राम कोसगा पनिकापारा ने 24 जुलाई को थाना उपस्थित आकर रिपोर्ट दर्ज कराया था कि– उसकी नाबालिग लड़की घर से बिना बताये कहीं चली गई है रिस्तेदारो आसपास पड़ोस में पता तलाश किया कहीं पता नहीं चला अपने पास 9343892487 रखी है।
यह भी अंदेशा जताया किसी अजनबी द्वारा फुसला कर भगा ले जाया गया होगा। पीड़िता के पिता द्वारा कराये रिपोर्ट के बुनियाद पर लखनपुर पुलिस मामले में धारा 363 भादस क़ायम कर विवेचना में लिया । फरमान पुलिस महकमा उच्चाधिकारियों के एवं प्रशिक्षु भापुसे चिराग जैन थाना प्रभारी के मार्गदर्शन पर तत्काल तकनीकी जानकारी एवं टावर लोकेशन के आधार पर पीड़िता नाबालिग लड़की का सुराग लगाया गया।
राजस्थान के जिला बाडमेर में नाबालिग लड़की का सुराग मिलने से लखनपुर थाना प्रभारी द्वारा तत्काल राजस्थान पुलिस एवं संबंधित थाना के जरिये मोबाइल फोन से सम्पर्क कर नाबालिग लड़की का लोकेशन बताया गया। लखनपुर थाना प्रभारी द्वारा टीम गठित कर जिला बाडमेर राजस्थान रवाना किया गया। राजस्थान पुलिस एवं लखनपुर पुलिस के संयुक्त टीम द्वारा पीड़िता नाबालिग लड़की को 24 घंटे के अन्दर बरामद कर परिजनों के सुपुर्द किया गया।
सदेही सूरता राम निवासी जिला बाडमेर राजस्थान को हिरासत में लेकर थाना लाया गया था। पीड़िता का महिला अधिकारी एवं बाल कल्याण समिति से बयान कराया गया जिसमें पीड़िता ने बताया कि आरोपी सूरता राम पिता माला राम उम्र 24 साल साकिन सावलोर थाना चौहटन जिला बाडमेर राजस्थान के द्वारा शादी का झांसा देकर भगा ले जाना बताया गया।
मामले में आरोपी सुरता राम के द्वारा धारा 366 क भादस घटित करने पाये जाने से उपरोक्त धारा मामले में जोड़ी गई है। आरोपी सुरता राम से घटना के मुतालिक पुछताछ किये जाने पर उसने अपने इकबाले जुर्म में अपराध करना कबूल किया है। आरोपी सुरता राम के विरुद्ध अपराध सबूत पाए जाने से गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेजा गया। संपूर्ण कार्यवाही में प्रशिक्षु भापु से चिराग जैन उप निरीक्षक डाकेश्वर सिंह,सउनि, डेबिट मिंज, रामचंद्र सिंह, आरक्षक मुनेश्वर पैकरा, अमरेश दास, देवेंद्र सिंह, जानकी प्रसाद राजवाड़े सक्रिय रहे।