महाकुंभ में मुलायम सिंह यादव की मूर्ति को लेकर मचा हंगामा..
संगम नगरी प्रयागराज में आज से महाकुंभ का शुभारंभ होने जा रहा है। 13 जनवरी से 26 फरवरी तक चलने वाले इस आस्था के पर्व में करोड़ों श्रद्धालु पवित्र स्नान के लिए यहां जुटेंगे। हालांकि इससे पहले महाकुंभ मेला परिसर में एक कैंप में समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह यादव की मूर्ति को लेकर विवाद खड़ा हो गया है।
कई हिंदू संतों ने इस मूर्ति को लेकर कड़ी आपत्ति जताई है। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद समेत कई संतों ने गम्भीर आरोप लगाते हुए कहा है कि हिंदुओं के आस्था के पर्व में हिंदू विरोधी नेता की मूर्ति लगाना हिन्दुओं का अपमान है।
प्रतिमा की स्थापना पर अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने कड़ी निंदा की। परिषद के अध्यक्ष महंत रवींद्र पुरी ने कहा कि मुलायम सिंह यादव हिंदू विरोधी और सनातन विरोधी विचार रखते थे। महंत रवींद्र पुरी ने कहा कि मुलायम सिंह यादव की प्रतिमा स्थापित करने का उद्देश्य संतों को उन घटनाओं की याद दिलाना है, जब उनके लोगों ने हिंदुओं की हत्या की थी।
उन्होंने कहा, “हमें मुलायम सिंह की प्रतिमा पर कोई आपत्ति नहीं है। वह हमारे मुख्यमंत्री रहे हैं। लेकिन वे इस वक्त प्रतिमा स्थापित करके क्या संदेश देना चाहते हैं? सभी जानते हैं कि राम मंदिर आंदोलन में उन्होंने क्या किया।” महंत ने कहा, “वह हमेशा हिंदू विरोधी, सनातन विरोधी और मुसलमानों के हितैषी रहे हैं।” जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद ने भी रवींद्र पुरी का समर्थन किया है।