सूर्य नमस्कार करने के लिए रवाना हुआ आदित्य एल-1…..ISRO ने किया सफल प्रक्षेपण
(शशि कोन्हेर) :भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) सौर्य मिशन के तहत शनिवार दो सितंबर 2023 को आदित्य एल-1 को सूर्य-पृथ्वी के बीच लैग्रेंजियन प्वाइंट के पास हेलो ऑर्बिट में स्थापित करने के लिए लॉन्च कर दिया है. इसरो आदित्य एल-1 के साथ सात पे-लोड्स भी भेज रहा है, जो सूर्य की बाहरी परत कोरोना के साथ फोटोस्फीयर और क्रोमोस्फीयर के अलावा सूरज के वायुमंडल के कणों और इन-सीटू का अध्ययन करेगा.
इसरो आदित्य एल-1 के सात पे-लोडर्स में चार ऐसे पे-लोडर्स को भी भेजा है, जो सीधे सूर्य की निगरानी करेंगे. सबसे बड़ी बात यह है कि हम इसरो द्वारा अंतरिक्ष में सूर्य, चंद्रमा, शुक्र, मंगल आदि का अध्ययन करने के लिए भेजे जाने वाले उपकरणों के बारे में तो जानते हैं।
लेकिन इन उपकरणों का निर्माण कौन करता है और कौन इसरो को मुहैया कराता है, इस बारे में बहुत कम लोगों को ही जानकारी होती है. आइए, हम जानते हैं कि भारत की वह कौन सी कंपनी है, जो अंतरिक्ष के तमाम अभियानों के लिए इसरो को उपकरण मुहैया कराती है.
किन-किन उपकरणों को साथ ले जा रहा आदित्य एल-1
सूर्य की बाहरी परत कोरोना, फोटोस्फीयर और क्रोमोस्फीयर का अध्ययन करने के लिए इसरो की ओर से लॉन्च किए जाने वाले आदित्य एल-1 अपने साथ जिन उपकरणों को लेकर जा रहा है, उनमें दृश्यमान उत्सर्जन रेखा कोरोनाग्राफ (वीईएलसी), सौर पराबैंगनी इमेजिंग टेलीस्कोप (एसयूआईटी), सौर निम्न ऊर्जा एक्स-रे स्पेक्ट्रोमीटर (सोलेक्स), उच्च ऊर्जा L1 कक्षीय एक्स-रे स्पेक्ट्रोमीटर (एचईएल 1 ओएस)
आदित्य सौर पवन कण प्रयोग (एएसपीईएक्स), आदित्य के लिए प्लाज्मा विश्लेषक पैकेज (पापा), उन्नत त्रि-अक्षीय उच्च रिज़ॉल्यूशन डिजिटल मैग्नेटोमीटर, सोलर कॉरोनल इमेजर (एससीआई), सोलर एक्स-रे स्पेक्ट्रोमीटर (एसएक्सएस), सोलर विंड प्लाज्मा विश्लेषक (एसडब्ल्यूएपी), मैग्नेटोमीटर (एमएजी), सोलर पार्टिकल मॉनिटर (एसपीएम) और इन-सीटू सोलर स्पेक्ट्रोमीटर (आईएसएस) आदि शामिल हैं.