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सेना ने मिट्टी में मिला दिए लश्कर के 5 आतंकवादी, PAK फिर हुआ बेनकाब

कश्मीर में सुरक्षा बलों हाथ गुरुवार को बड़ी कामयाबी लगी। सुरक्षा बलों ने कुपवाड़ा में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पास एक बड़े ऑपरेशन में लश्कर-ए-तैयबा के पांच आतंकवादियों को मार गिराया। सेना की चिनार कोर ने कहा कि उन्होंने जम्मू-कश्मीर पुलिस के साथ एक संयुक्त अभियान चलाया और उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा सेक्टर में नियंत्रण रेखा पर घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया।

इस नाकाम घुसपैठ के साथ ही पाकिस्तान एक बार फिर से बेनकाब हो गया है। ऑपरेशन की जानकारी देते हुए जम्मू-कश्मीर के पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने कहा कि आतंकवादियों की संख्या में काफी हद तक कमी आई है।

पुलिस ने शाम को कहा कि कुपवाड़ा के माछिल में एक ऑपरेशन में लश्कर के पांच आतंकवादी मारे गए हैं। अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजीपी), कश्मीर जोन विजय कुमार ने कहा कि “लश्कर के पांच आतंकवादी मारे गए। उनकी पहचान की जा रही है। तलाशी अभियान जारी है। अतिरिक्त विवरण बाद में दिए जाएंगे।” अग्रिम इलाकों का दौरा करने वाले जम्मू-कश्मीर के पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने कहा कि पुलिस और सेना का संयुक्त अभियान अभी समाप्त नहीं हुआ है। उन्होंने कहा, “ऑपरेशन शाम तक समाप्त होने पर विवरण साझा किया जाएगा।”

दिलबाग सिंह ने कहा कि इस सीमा बेल्ट के सामने का क्षेत्र लंबे समय से कुख्यात है। उन्होंने कहा, “वहां अच्छी संख्या में कैंप, लॉन्चिंग पैड और ट्रेनिंग सेंटर हैं। पीओके में कम से कम 16 लॉन्चिंग पैड मौजूद हैं। घुसपैठियों को भेजने के लिए उनकी ओर से ये गतिविधियां जारी रहती हैं। कभी-कभी हथियार और नार्को तस्करी के प्रयास होते हैं।” डीजीपी ने कहा कि घुसपैठ की कोशिशें होती रहती हैं और वे उनमें से अधिकांश को विफल करने में सक्षम हैं। उन्होंने कहा, “पुलिस और सेना सहित हमारा प्रयास पाकिस्तान और उसकी एजेंसियों द्वारा इस प्रकार के प्रयासों को विफल करना है। आज का ऑपरेशन भी उसी प्रयास का एक हिस्सा है।”

उन्होंने कहा कि दूसरे पक्ष की कोशिश भारी बर्फबारी से पहले अधिक से अधिक आतंकवादियों की घुसपैठ कराने की थी। उन्होंने कहा, “(सर्दियों की शुरुआत से पहले), पाकिस्तान के लॉन्चिंग पैड से आतंकवादियों को राजौरी-पुंछ और कुपवाड़ा-बारामूला सेक्टरों में भेजने की कोशिश की जा रही है। इनमें से कई प्रयास विफल कर दिए गए। सीमा पर सफल ऑपरेशन हुए हैं और कई आतंकी घुसपैठ करते हुए मारे गए हैं। पहले यह संख्या लगभग 40 थी और इन सफल अभियानों ने घुसपैठ की कोशिशों को काफी हद तक विफल कर दिया है। इसके बावजूद कुछ लोग घुसपैठ करने में कामयाब हो जाते हैं लेकिन अंदरूनी इलाकों में ऑपरेशन के दौरान उनको भी निपटा दिया जाता है।”

डीजीपी ने कहा कि आज उग्रवादियों की संख्या काफी हद तक कम हो गयी है। उन्होंने कहा, “पुलिस और अन्य बलों को बड़ी सफलता मिली है। लोगों ने राहत महसूस की है क्योंकि आतंकवादियों का सफाया हो गया है…आतंकवादियों की संख्या बहुत बड़ी नहीं है और आने वाले दिनों में उनमें और कमी आएगी।”

21 अक्टूबर को उत्तरी कश्मीर के बारामूला जिले के उरी सेक्टर में घुसपैठ की कोशिश में दो आतंकवादी मारे गए थे, जिसे सुरक्षा बलों ने नाकाम कर दिया था। सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल एमके साहू ने रविवार को एक बयान में कहा था कि घुसपैठ करने वाले समूह द्वारा शवों को नियंत्रण रेखा के दूसरी ओर वापस खींच लिया गया था। इस बीच सुरक्षा बलों ने ‘दो एके राइफलें, छह पिस्तौल, चार चीनी ग्रेनेड, कंबल और पाकिस्तानी और भारतीय करेंसी नोट, पाकिस्तानी दवाओं और खाने-पीने की चीजों से भरे दो खून से सने बैग सहित युद्ध जैसे सामान बरामद किए थे।’

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