जम्मू-कश्मीर में बड़ी कामयाबी, आतंकवादी हुए ढेर..
स्वतंत्रता दिवस से एक दिन पहले सुरक्षा बलों को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। जम्मू-कश्मीर के डोडा जिले के ऊंचाई वाले इलाकों में बुधवार को जारी एक अभियान के दौरान सेना ने चार आतंकवादियों को मुठभेड़ में मार गिराया है। हालांकि इस अभियान में सेना के एक कैप्टन भी शहीद हो गए।
अधिकारियों ने यह जानकारी दी। इस मुठभेड़ में एक नागरिक के भी घायल होने की खबर है। शहीद कैप्टन दीपक सिंह 48 राष्ट्रीय राइफल्स के जवान थे। घायल नागरिक हिरनी गांव का निवासी है। उसे मामूली चोट आई है।
अधिकारियों ने बताया कि शिवगढ़-अस्सार पट्टी में छिपे विदेशी आतंकवादियों की तलाश में सुरक्षाबलों और पुलिस ने इलाके की घेराबंदी कर संयुक्त तलाश अभियान शुरू किया और इस दौरान घने जंगल वाले इलाके में उनके बीच मुठभेड़ शुरू हो गई।
उन्होंने बताया कि आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ में कैप्टन दीपक सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए जिसके बाद उन्हें सैन्य अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्होंने अंतिम सांस ली।
व्हाइट नाइट कोर ने कैप्टन दीपक सिंह के निधन पर शोक व्यक्त किया और कहा कि वह इस दुख की घड़ी में शोकाकुल परिवार के साथ है।
व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, “व्हाइट नाइट कोर के सभी रैंक क अधिकारी कर्मचारी बहादुर कैप्टन दीपक सिंह के सर्वोच्च बलिदान को सलाम करते हैं, जिन्होंने अपनी जान कुर्बान कर दी। व्हाइटनाइट कॉर्प्स गहरी संवेदना व्यक्त करता है और इस दुख की घड़ी में शोक संतप्त परिवार के साथ खड़ा है।”
अधिकारियों के अनुसार, कैप्टन सिंह डोडा जिले के अस्सर के शिवगढ़ धार में अभियान का नेतृत्व कर रहे थे, जब उनके सीने के दाहिने हिस्से में तीन गोलियां लगीं।
एक सेना अधिकारी ने कहा, “गंभीर रूप से घायल होने के बावजूद,कैप्टन दीपक सिंह अपनी टीम को निर्देश देते रहे, जब तक कि उन्हें अस्पताल नहीं ले जाया गया।”
अधिकारियों ने बताया कि मुठभेड़ स्थल से चार बैग मिले हैं, जिनमें खून लगा है। उसके साथ ही अमेरिका में बनी एम-4 कार्बाइन और गोला-बारूद भी बरामद हुए हैं। इससे यह समझा जा रहा है कि मुठभेड़ में चार आतंकवादी मारे गए हैं।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजीपी) आनंद जैन ने बताया कि दोपहर दो बजे तक इलाके में अभियान जारी था। उन्होंने बताया कि ऐसा प्रतीत होता है कि आतंकवादी अपने घायल साथी के साथ सुरक्षा बलों से बचने के लिए अपने कुछ हथियार और गोला-बारूद छोड़कर भाग गए।
अधिकारियों ने बताया कि कल शाम सुरक्षा बलों और आतंकवादियों के बीच गोलीबारी के बाद आतंकवादी उधमपुर जिले के पटनीटॉप के पास के जंगल से डोडा में घुस आए।
अधिकारियों के अनुसार उधमपुर में मंगलवार शाम करीब छह बजे सुरक्षाबलों को आतंकवादियों की मौजूदगी का पता चला था। आधे घंटे बाद उनके बीच मुठभेड़ शुरू हो गई। सुरक्षाबलों ने रातभर में इलाके को चारों ओर से घेर लिया।
अधिकारियों ने बताया कि सुरक्षाबलों ने आज सुबह फिर से तलाश अभियान शुरू किया। आज सुबह करीब 7.30 बजे पुन: आतंकवादियों और जवानों के बीच गोलीबारी शुरू हो गई। सुरक्षा बलों ने रविवार को भी दो मुठभेड़ों में आतंकवादियों को ढेर कर दिया।
एक किश्तवाड़ के नौनट्टा के सुदूर वन क्षेत्रों में और दूसरा उधमपुर के बसंतगढ़ क्षेत्र में। इन मुठभेड़ों के बाद आतंकवादी डोडा की पहाड़ियों में भाग गए। डोडा जिले के गंडोह इलाके में 26 जून को हुई मुठभेड़ में तीन आतंकवादी मारे गए थे। इन आतंकवादियों के पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) से जुड़े होने का संदेह है।