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हिंडनबर्ग के खुलासे के 100 दिन बाद अडानी ग्रुप के लिए गुड न्यूज, अब ये 3 विदेशी बैंक कर्ज देने को तैयार

(शशि कोन्हेर) : भले ही अमेरिकी शॉर्ट सेलर फर्म हिंडनबर्ग (Hindenburg) के अटैक से भारतीय उद्योगपति गौतम अडानी (Gautam Adani) का विशाल कारोबारी साम्राज्य हिल गया हो और उन्हें भारी-भरकम नुकसान उठाना पड़ा हो. लेकिन अब इसका असर खत्म होता दिखाई दे रहा है. इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है, कि जापान के एक नहीं बल्कि तीन बड़े बैंकों (Three Japani Banks) ने अडानी ग्रुप पर भरोसा जताया है. एक रिपोर्ट के मुताबिक, इस तीनों जापानी बैंकों ने ग्रुप को फाइनेंशियल हेल्प देने का आश्वासन दिया है. सबसे खास बात ये है कि ये अडानी के लिए बिल्कुल नए देनदार हैं. 

इन जापानी बैंकों ने जताया भरोसा
जापान के जिन तीन बड़े बैंकों ने अडानी ग्रुप में निवेश का मन बनाया है, उनमें मित्सुबिशी यूएफजे फाइनेंशियल ग्रुप (Mitsubishi UFJ Financial Group), सुमितोमो मित्सुई बैंकिंग (Sumitomo Mitsui Banking) और मिजुहो फाइनेंशियल ग्रुप (Mizuho Financial Group) शामिल हैं.  फाइनेंशियल टाइम्स की खबर के मुताबिक, न केवल इन तीन नए बैंकों ने, बल्कि स्टैंडर्ड चार्टर्ड और बार्कलेज समेत कई वर्तमान कर्जदारों का भी अडानी ग्रुप पर भरोसा कायम है.

अडानी ग्रुप पर कितना कर्ज?
रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि सभी बैंकों ने वित्तीय वर्ष 2023-24 और 2025-26 में परिपक्व होने वाले 4 अरब डॉलर के री-फाइनेंस बॉन्ड और समूह के मौजूदा व नए कर्ज को भी समर्थन देने का वादा किया है. यहां बता दें 31 मार्च 2023 तक अडानी समूह का कर्ज (Adani Group Debt) 2.27 ट्रिलियन रुपये था, जिसमें से 39% बॉन्ड, 29% अंतरराष्ट्रीय बैंकों और 32% भारतीय बैंकों और एनबीएफसी से लिया गया.

हिंडनबर्ग की रिपोर्ट पब्लिश होने के दो महीने तक हर बीतते दिन के साथ अडानी ग्रुप को भारी नुकसान उठाना पड़ा था. शेयरों में आई सुनामी के चलते ग्रुप का मार्केट कैप भी 100 अरब डॉलर के नीचे पहुंच गया था.

जीक्यूजी पार्टनर्स ने इन कंपनियों में किया था निवेश
रिपोर्ट के मुताबिक, हिंडनबर्ग के कहर के बीच अडानी ग्रुप की कंपनियों (Adani Group Firms) में बड़ा निवेश करके चर्चा में आए इन्वेस्टर जीक्यूजी पार्टनर्स (GQG Partners) ने एक बार फिर अडानी की कंपनियों में इन्वेस्टमेंट करने का मन बनाया हैं. मार्च 2023 में जीक्यूजी पार्टनर्स ने ग्रुप की चार कंपनियों Adani Enterprises, Adani Green Energy, Adani Ports और Adani Total Gas में 15,446 करोड़ रुपये का निवेश किया था.

हिंडनबर्ग के भंवर से निकलते अडानी
गौरतलब है कि बीते 24 जनवरी को Hindenburg ने अडानी ग्रुप पर शेयरों में हेर-फेर और कर्ज से जुड़े 88 सवाल उठाते हुए अपनी रिसर्च रिपोर्ट पब्लिश की थी. इसके जारी होने के अगले कारोबारी दिन से ही अडानी की कंपनियों के शेयर धराशायी हो गए थे और दो महीने तक इनमें लगातार गिरावट देखने को मिली थी. अडानी के शेयर 85 फीसदी तक टूट गए थे.

24 जनवरी से पहले दुनिया के टॉप अरबपतियों में चौथे पायदान पर मौजूद गौतम अडानी की नेटवर्थ में गिरावट से लिस्ट में खिसककर देखते ही देखते 37वें पायदान तक पहुंच गए थे. हालांकि, अब शेयरों में वापसी दिख रही है और ब्लूमबर्ग बिलेनियर्स इंडेक्स के मुताबिक, गौतम अडानी 61.8 अरब डॉलर की नेटवर्थ के साथ दुनिया के 21वें सबसे अमीर इंसान हैं.

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