ना शिकायत काम आई न समझौता, आखिर हो गई कन्हैया लाल की हत्या, सामने आई मृतक की शिकायती चिट्ठी
(शशि कोन्हेर) : उदयपुर में दिनदहाड़े टेलर की हत्या के बाद पूरे राजस्थान में अलर्ट जारी कर दिया गया है. राज्य में धारा 144 लागू है. उदयपुर, दौसा और अजमेर में इंटरनेट बंद कर दिया गया है. इस बीच मृतक कन्हैयालाल का वह पत्र सामने आया है, जो उन्होंने करीब 17 दिन पहले उदयपुर पुलिस को दिया था।
शिकायती पत्र में कन्हैयालाल ने उन्हें जान से मार दिए जाने की आशंका जताई थी. उन्होंने पुलिस से सुरक्षा की मांग की थी, पुलिस ने दोनों पक्षों को पुलिस स्टेशन बुलाकर आपसी समझौता करा दिया. इस घटना के बाद समझौता कराने वाले धानमंडी थाने के ASI भंवरलाल को सस्पेंड कर दिया गया है।
कन्हैयालाल ने पुलिस को दिए शिकायत पत्र में लिखा था कि मेरा बच्चा गेम खेल रहा था, उस वक्त गलती से वॉट्सऐप (Whatsapp) पर एक स्टेटस लग गया. मुझे इसकी जानकारी नहीं थी और ना ही मुझे फोन चलाना आता है. मुझे 11 तारीख को थाने से फोन आया कि नाजिम नाम के शख्स ने मेरे खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है।
राजस्थान के एडीजी लॉ एंड ऑर्डर हवा सिंह घुमारिया के मुताबिक, 11 जून को कन्हैयालाल के खिलाफ एक रिपोर्ट दर्ज की गई थी. आरोप था कि कन्हैयालाल ने पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ की गई टिप्पणी को प्रचारित किया. पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर कन्हैयालाल को गिरफ्तार किया था. 11 जून को ही उन्हें कोर्ट से जमानत मिल गई थी।
बेल पर बाहर आने के बाद 15 जून को कन्हैयालाल ने लिखित शिकायत की थी. उन्होंने कहा था कि मुझे जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं. मुझे सुरक्षा दी जाए. एसएचओ ने तत्काल उन लोगों को बुला लिया था, जिन्होंने धमकी दी थी. दोनों तरफ के 5-5 लोगों ने साथ बैठकर समझौता कर लिया था. दोनों ने कहा था कि हमें कोई कार्रवाई नहीं चाहिए. इसलिए आगे कार्रवाई नहीं की गई. 17 जून को कन्हैयालाल ने लिखित समझौता कर लिया था।
और क्या लिखा था शिकायत में?
- रिपोर्ट दर्ज कराने वाला नाजिम मेरा पड़ोसी है. नाजिम ने बताया कि उसने अपने समाज के दबाव में आकर रिपोर्ट दर्ज कराई थी. उसे पता है कि मुझे मोबाइल चलाना नहीं आता और मैं ये पोस्ट नहीं कर सकता.
- नाजिम और उसके साथ 5 लोग दिन भर मेरी दुकान की रेकी कर रहे हैं. मुझे दुकान खोलने नहीं दे रहे हैं. सुबह-शाम 5-7 लोग मेरी दुकान के सामने चक्कर काट रहे हैं.
- मेरा फोटो इन्होंने अपने समाज के ग्रुप में वायरल कर दिया है. सबसे यह कहा है कि अगर मैं किसी को कहीं मिल जाऊं तो मुझे जान से मार दिया जाए. अगर मैं दुकान खोलता हूं तो मुझे मार दिया जाएगा.
इस मामले में अब तक क्या-क्या हुआ
इस वारदात को मंगलवार दोपहर करीब 3.30 बजे अंजाम दिया गया. कुछ देर बाद ही हिंदू संगठनों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया. पहले उदयपुर में कर्फ्यू लगाया गया, फिर इंटनेट बंद किया गया और इसके बाद पूरे राजस्थान में धारा 144 लागू कर दी गई. शाम होते-होते हत्यारे राजसमंद जिले से पकड़ लिए गए. राजस्थान सरकार ने मृतक के परिजनों को 31 लाख रु. का मुआवजा देने का ऐलान किया. साथ ही मृतक के परिवार के 2 सदस्यों को संविदा नौकरी देने की घोषणा की।