(शशि कोन्हेर) : बिलासपुर। महापौर रामशरण यादव व सभापति शेख नजीरुद्दीन ने शनिवार सुबह 11 बजे छठघाट में वीड हार्वेस्टिंग मशीन की पूजा-अर्चना अरपा नदी से जलकुंभी की सफाई का शुभारंभ किया। यह मशीन रोजाना 8 घंटे तक नगर निगम सीमा में स्थित तालाबों और जलस्रोतों की सफाई करेगी।
इस अवसर पर मेयर श्री यादव ने कहा कि शहर के जलस्रोतों को सहेजने की जरूरत सालों से महसूस की जा रही है। अब तक मानवीय संसाधन से अरपा नदी और तालाबों में पनप रही जलकुंभी को साफ किया जाता रहा है, लेकिन कुछ दिन बाद फिर से वहां जलकुंभी उग जाती है। इससे नदी और तालाबों का पानी गंदा हो जाता है।
जलकुंभी और गंदे पानी के कारण भारी मात्रा में मच्छर पनपने लगते हैं। मच्छरों के कारण शहर के नागरिकों को भी भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। जलकुंभी को जड़ से खत्म करने के लिए हमने एक योजना बनाई है, जिसके तहत ट्रायल के तौर पर एक साल के लिए वीड हार्वेस्टिंग मशीन का उपयोग किया जा रहा है। इस मशीन को किराए पर लेने के लिए एमआईसी में प्रस्ताव पास किया गया था। ट्रॉयल सफल होने पर नगर निगम प्रशासन इस मशीन की खरीदारी भी कर सकता है।
उन्होंने कहा कि यह मशीन बड़े-बड़े सरोवरों से जलकुंभी की सफाई कर चुकी है। खास बात यह है कि यह मशीन जलस्रोतों में उग आई जलकुंभी को जड़ समेत निकालकर बाहर कर देती है, जिससे फिर से जलकुंभी उगने की संभावना नहीं के बराबर रहती है।
इस अवसर पर प्रभारी कमिश्नर राकेश जायसवाल, एमआईसी सदस्य राजेश शुक्ला, मनीष गढ़ेवाल, बजरंग बंजारे, सीताराम जायसवाल, भरत कश्यप, संध्या तिवारी, पार्षद अब्दुल इब्राहिम, श्याम पटेल, कांग्रेस नेता साखन दर्वे, ईई अनुपम तिवारी, जोन कमिश्नर प्रवेश कश्यप, ठेका कंपनी मेसर्स क्लीन टेक इंफ्रा दिल्ली के अधिकारी-कर्मचारी, नगर निगम के अधिकारी-कर्मचारी आदि मौजूद रहे।
मेयर, सभापति व एमआईसी सदस्यों ने मशीन में सवार होकर देखी जलकुंभी की सफाई
छठघाट में विधि-विधान से पूजा-अर्चना करने के बाद मेयर श्री यादव, सभापति श्री नजीरुद्दीन एमआईसी सदस्यों के साथ मशीन में सवार हुए। ऑपरेटर ने मशीन को अरपा नदी में चलाना शुरू किया। करीब सात फीट चौड़ाई तक नदी में उग आई जलकुंभी देखते-देखते ही साफ हो जा रही थी, जिसका अवलोकन मेयर व सभापति करते रहे।
जलकुंभी को तत्काल कछार भेजने के निर्देश
मेयर श्री यादव ने ईई अनुपम तिवारी से अरपा नदी से निकाली गई जलकुंभी के निपटान के बारे में जानकारी ली। उन्होंने ईई श्री तिवारी को सफाई से निकली जलकुंभी को तत्काल कछार स्थित ठोस अपशिष्ट प्रबंधन प्लांट में भिजवाने के निर्देश दिए, ताकि ये जलकुंभी फिर से नदी में न गिर जाए। कछार में जलकुंभी से खाद बनाई जाएगी।